आजादी का अमृत महोत्सवः गुमनाम स्वतंत्रता सेनानियों की शिक्षकों ने सुनी कहानी

अररिया (बिहार) ◆ आजादी का अमृत   महोत्सव के अवसर पर गुमनाम स्वतंत्रता सेनानियों के तलाश का प्रयास जारी है। इसी कड़ी में जिला अररिया से शिक्षक रंजेश कुमार, शिक्षिका मधु प्रिया ने शहर के धर्मशाला चौक निवासी श्रीकुमार ठाकुर के घर पहुंचे।जहां आजादी के दीवानों की गाथा सुनते हुए बताया की श्रीकुमार ठाकुर के पिता स्वर्गीय दीनानाथ ठाकुर स्वतंत्रता सेनानियों के अहम मददगार थे।शिक्षक ने स्वर्गीय दीनानाथ ठाकुर के परिजनों से उनके संघर्ष की दास्तान सुनी और उसे कलमबद्ध किया ।स्वर्गीय दीनानाथ ठाकुर के परिजनों ने बताया कि उन्होंने देश हित को सर्वोपरि माना और अपने पेंशन का भी परित्याग कर दिया। हम गौरवान्वित हैं की हमे गुमनाम स्वतंत्रता सेनानियों के बारे में कहानियां संकलित करना है और इस पावन कार्य के लिए हमे यह दायित्व सौपा गया।गौरतलब है कि गुमनाम नायकों पर खंड हमारे स्वतंत्रता संग्राम के भूले-बिसरे नायकों को याद करने का एक प्रयास है, जिनमें से कई नई पीढ़ी के लिए प्रसिद्ध हो सकते हैं लेकिन वे अज्ञात हैं। टीम ने बताया कि अतीत की फीकी यादों के रूप में पड़ी कहानियों को फिर से उजागर करने और सामने लाने का उद्देश्य आने वाली पीढ़ियों के लिए प्रेरणा और प्रोत्साहन के एक माध्यम के रूप में काम करेगा। भारत 2.0 केवल विकास के किसी एक विशेष प्रतिमान में भारत की भावना को बढ़ावा देने के बारे में नहीं है। यह जीवन के सभी क्षेत्रों को समाहित करता है, सबसे बढ़कर हमारे दिल और आत्मा को समृद्ध करता है। जब तक हम अपने गुमनाम नायकों को तरक्की और विकास की इस यात्रा में शामिल नहीं करते हैं, तब तक भारत की भावना अधूरी है। उनके लोक नीतियों और सिद्धांतों को याद किया जाना चाहिए और उनका सम्मान किया जाना चाहिए। अररिया में ईद के बाद अन्य कई गुमनाम स्वतंत्रता सेनानियों के नाम को सार्वजनिक किया जाएगा।

(रिपोर्टर - राहुल कुमार यादव, बिहार)