धमदाहा की जनता ने वोट की चोट से गंदी राजनीति करने वाले विपक्षी को दिया करारा जवाब

पूर्णिया (बिहार) ◆धमदाहा की जनता ने वोट की चोट से गंदी राजनीति करने वाले विपक्षी को करारा जवाब दे दिया है। मैं धमदाहा की देवतुल्य जनता को विधानसभा चुनाव में भारी मतों से विजयी बनाने के लिए धन्यवाद देने के साथ-साथ उनका अभिवादन करती हूं।उक्त बातें मंत्री लेशी सिंह ने पूर्णिया स्थित आवास पर प्रेस कॉन्फ्रेंस में कही। उन्होंने कहा कि विपक्षी पार्टी के उम्मीदवार ने गंदी राजनीति कर समाज में जाति उन्माद फैलाने की मंशा से कई तरह का कुचक्र रचा था। समाज में जहर घोलने का काम किया था। सोशल मीडिया व यू ट्यूबरों को हायर कर धमदाहा विधानसभा क्षेत्र का माहौल बिगाड़ने की साजिश रच रहे थे। वे गाली गलौज करने लगे थे। लेकिन मैंने अपने लोगों एवं जनता से शांत रहकर चुनाव शांतिपूर्ण सम्पन्न कराने का आग्रह किया था। धमदाहा की जनता ने वोट की चोट से विपक्षी को करार जवाब दे दिया है। जिन्हें मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने फर्श से अर्श तक ला दिया था। वे दल बदल के बाद मुख्यमंत्री पर ही टीका-टिप्पणी करने लगे थे। मुख्यमंत्री ने जब जनता से पूछकर मुझे जीत का माला पहना दिया तो उसने कई तरह की भद्दी-भद्दी टिप्पणी करने लगे थे। जिसे देख कर शर्म आने लगी थी।उन्होंने कहा कि विपक्षी चुनाव के दौरान नारे लगा रहे थे कि मुझे आजादी चाहिए । लेकिन मैं कहना चाहती हूं कि मेरे रहते लूट
की आजादी नहीं मिलेगी। अब धमदाहा में विकास की नई
उंचाई दिलाने का काम करूंगी। उन्होंने कहा कि विपक्षी को
नफरत की राजनीति मुबारक। मेरा मकसद समाज को जोड़ना
है। बिहार की जनता देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी व बिहार
के विकास पुरूष नीतीश कुमार को अपने सर आंखों पर बिठा
लिया है। बिहार में डबल इंजन की सरकार बिहार में विकास
की नई इबादत लिखेगी। इस मौके पर जदयू के जिला अध्यक्ष
प्रकाश पटेल,जदयू के महानगर अध्यक्ष अविनाश सिंह, मनोज
पासवान आदि उपस्थित थे।हराने के लिए की गई थी गंदी राजनीति मंत्री लेशी सिंह ने कहा कि विपक्षी ने धमदाहा के दमगाड़ा में जिस तरह का कुचक्र कर मुझे बदमान करना चाहा। राशन चोर के नारे लगाने वाले विपक्षी डीलर की गाड़ी पर बैठ कर पैसा बांट रहे थे। उन्होंने सांसद का नाम लिए बगैर कहा कि पूर्णिया के तथाकथित महाबली नेता हमेशा कहते रहते थे कि मैं उनके बाप-दादा से लड़ा हूं। लेशी सिंह ने पूछा की उन्हें बताना चाहिए कि वे कहां और किससे लड़े हैं। अगर जीते हैं तो मैं मुख्यमंत्री से कहकर उन्हें पुरस्कार दिलवाने का काम करूंगी।